वाराणसी । कोरोना संक्रमण से बचाव में कारगर एंटीबॉडी क्या लोगों के शरीर में कम हो रही है? यह सवाल डायट में हुई एक जांच रिपोर्ट के आधार पर उठा है। डॉयट के 66 फीसदी लोगों में एंटीबॉडी खत्म होने के कगार पर है। इनमें 25 फीसदी वे कर्मचारी भी हैं जिन्हें विधानसभा चुनाव में ड्यूटी लगने के कारण बूस्टर डोज लगी थी। वाराणसी के सारनाथ स्थित जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण केंद्र (डायट) में बीएचयू के जीव विज्ञान के रिसर्च स्कॉलर रुद्र पांडेय और उनकी टीम ने मई में 165 लोगों का एंटीबॉडी चेक किया था। उनमें स्टाफ, छात्र और आस-पास के लोग शामिल थे। जांच रिपोर्ट के अनुसार 66 फीसदी लोगों की एंटीबॉडी खत्म होने के कगार पर है। इसमें 40 वे लोग शामिल हैं जिन्हे हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान बूस्टर डोज लगी थी। डायट के प्रवक्ता गोविंद चौबे ने बताया कि जिन्हें बूस्टर डोज लगी थी, उनकी एंटीबॉडी 100 यूनिट से कम हो गई। जबकि वैक्सीन लगने के दौरान एंटीबॉडी करीब पांच हजार यूनिट होती है। वहीं जीन वैज्ञानिक प्रो. ज्ञानेश्वर चौबे के अप्रैल में हुए अध्ययन में भी यह तथ्य सामने आया था कि तीन महीने बाद 76 फीसदी लोगों की एंटीबॉडी खत्म हो जाएगी। उस क्रम में डॉयट की रिपोर्ट चौंकाने वाली है।