नालागढ़। प्रदेश के सबसे बड़े औद्योगिक क्षेत्र नालागढ़ में सैनी माजरा में स्थित एमिल फार्मा फैक्ट्री में एक कर्मचारी की करंट लगने से मौत हो गई है। मृतक का नाम गीताराम बताया जा रहा है, जो कंपनी में सफाई कर्मचारी था।  सुबह करीब 7:20 बजे जब गीतारराम काम कर रहा था तो अचानक उसे करंट लग गया। मृतक के रिश्तेदार के बयान के मुताबिक 9 बजे तक गीताराम के इलाज के लिए किसी भी व्यक्ति ने किसी भी प्रकार की कोई जद्दोजहद नहीं की। कंपनी के लोग करीब दो घंटे तक तमाशा देखते रहे।
  मृतक कर्मचारी के बेटे का कहना है कि वह सुबह जब 9:00 बजे कंपनी पर काम करने के लिए गया तो देखा कि उसके पिता करंट लगने के कारण धरती पर पड़े थे। तमाम कंपनी वाले उसका तमाशा देख रहे थे और गाड़ी की भी व्यवस्था कंपनी प्रबंधन द्वारा नहीं करवाई गई। मृतक के बेटे का कहना है कि उसके द्वारा अपने पिता को इलाज के लिए नालागढ़ के सिविल अस्पताल लाया गया, जहां पर डॉक्टरों ने उन्हें देखते ही मृत घोषित कर दिया।
  मृतक के परिजनों द्वारा पुलिस थाना नालागढ़ को सूचित किया गया। पुलिस मृतक के शव का नालागढ़ के सिविल अस्पताल में पोस्टमार्टम करवा रही है। पुलिस का कहना है कि पोस्टमार्टम की रिपोर्ट के बाद ही असल कारण साफ हो पाएंगे। मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी गई है। इस बारे में मीडिया से बातचीत करते हुए मृतक के परिजनों का कहना है कि सुबह 7:00 बजे कंपनी आया और 7:20 पर उसे करंट लग गया, लेकिन सुबह 9:00 बजे तक किसी भी कंपनी के व्यक्ति द्वारा उसे इलाज के लिए अस्पताल तक नहीं लाया गया। जब उसका बेटा बलविंदर सिंह कंपनी 9:00 बजे आया तो उसे उठाकर इलाज के लिए नालागढ़ के सिविल अस्पताल ले गया, जहां पर डॉक्टरों ने उसे देखते ही मृत घोषित कर दिया।
  मृतक के परिजनों ने कंपनी प्रबंधन पर सवाल उठाते हुए कहा है कि मृतक को जिस प्रकार की कंपनी प्रबंधन द्वारा सुरक्षा व्यवस्था मुहैया करवानी चाहिए थी वह नहीं करवाई गई। मृतक को ना तो सेफ्टी शूज दिए गए और ना ही सेफ्टी यूनिफार्म की व्यवस्था करवाई गई थी, जिसके चलते उसे 440 वॉल्ट का करंट लगा और उसकी मौत हो गई। परिजनों ने कंपनी प्रबंधन पर बड़ी लापरवाही करने के गंभीर आरोप जड़े हैं और पुलिस के उच्च अधिकारियों से कंपनी प्रबंधन के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग उठाई है। वहीं, पीड़ित परिवार द्वारा उचित मुआवजा राशि व इंसाफ की गुहार लगाई है।
  इस बारे में जब हमने एमिल फार्मा कंपनी के एचआर मैनेजर गौरव से बातचीत की तो उनका कहना है कि सुबह 7:20 बजे के आसपास यह घटना हुई और गीताराम की करंट लगने से मौत हुई है। उन्होंने कहा कि सुबह स्टाफ बहुत कम होता है, जिसके चलते पता नहीं लग पाया। जैसे ही कंपनी को पता चला तो उनके द्वारा मृतक को एक निजी अस्पताल में इलाज के लिए लाया गया, जहां पर उसे मृत घोषित कर दिया गया। इसके बाद नालागढ़ के सिविल अस्पताल में मृतक का पोस्टमार्टम करवाया है। उन्होंने कहा कि कंपनी पीड़ित परिवार के साथ खड़ी है और हर संभव मदद के लिए तैयार हैं। करंट लगने से या कंपनी में हादसा होने से मौत का कोई यह पहला मामला नहीं है। इससे पहले भी सैकड़ों मामले ऐसे बद्दी बरोटीवाला नालागढ़ में सामने आ चुके हैं। उसके बाद भी बद्दी बरोटीवाला नालागढ़ के फैक्ट्री मालिकों द्वारा सबक नहीं लिया गया है। इसके चलते अब एक और पंजाब से रोजी-रोटी की तलाश में आए व्यक्ति को अपनी जान गंवानी पड़ी है।