वाराणसी   दुनिया के सबसे लंबे जलमार्ग पर चलने वाले Ganga Vilas Cruise को आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। यह रिवर क्रूज काशी से बोगीबील तक 3200 किलोमीटर की दूरी 51 दिनों में तय करेगा। आज रवाना होने वाले इस क्रूज पर रोमांचक यात्रा के लिए स्विट्जरलैंड के 31 पर्यटक शामिल हुए। वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए पीएम मोदी ने इस क्रूज को हरी झंडी दिखाई। इस कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी रविदास घाट पर मौजूद थे। वीडियो कॉन्फ्रेंसिग के जरिए कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि आज काशी से डिब्रूगढ़ के बीच दुनिया की सबसे बड़ी नदी जल यात्रा 'गंगा विलास' ​क्रूज का शुभारंभ हुआ है। इससे पूर्वी भारत के अनेक पर्यटक स्थल वर्ल्ड टूरिज्म मैप में और प्रमुखता से आने वाले हैं। गंगा जी हमारे लिए सिर्फ एक जलधारा भर नहीं हैं बल्कि प्राचीन काल से इस महान भारत भूमि की तप-तपस्या की साक्षी हैं। भारत की स्थितियां-परिस्थितियां कैसी भी रही हो, मां गंगे ने हमेशा कोटि-कोटि भारतीयों को पोषित किया है। क्रूज़ टूरिज्म का ये नया दौर इस क्षेत्र में हमारे युवा साथियों को रोजगार-स्वरोजगार के नए अवसर देगा। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि विदेशी पर्यटकों के लिए तो ये आकर्षण होगा ही, देश के भी जो पर्यटक पहले ऐसे अनुभवों के लिए विदेश जाते थे… वो भी अब पूर्वी-उत्तर पूर्वी भारत का रुख कर पाएंगे। ये क्रूज 25 अलग-अलग नदियों से होकर गुजरेगा और जो लोग भारत के समृद्ध खान-पान का अनुभव लेना चाहते हैं उनके लिए भी ये बेहतरीन अवसर है। यानी भारत की विरासत और आधुनिकता का अद्भुत संगम हमें इस यात्रा में देखने को मिलेगा। पीएम मोदी ने कहा कि 21वीं सदी का ये दशक, भारत में इंफ्रास्ट्रक्चर के कायाकल्प का दशक है। इस दशक में भारत के लोग आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर की वो तस्वीर देखने जा रहे हैं, जिसकी कल्पना तक मुश्किल थी।

वाराणसी से डिब्रूगढ़ तक जाएगा क्रूज

भारत के अलग-अलग राज्यों से सफर करते हुए असम के डिब्रूगढ़ तक जाएगा। दुनिया का सबसे लंबा रिवर क्रूज एमवी गंगा विलास भारत में बनने वाला पहला क्रूज पोत है। यह रिवर क्रूज सेक्टर में आत्मनिर्भर भारत का प्रतीक है।

 ये खासियत

- गंगा विलास क्रूज 51 दिनों में 3200 किमी की यात्रा करेगा।
- 18 कमरों वाले क्रूज में सभी तरह की लग्जरी सुविधाएं दी गई है।
- क्रूज में 5-स्टार होटल के समान सभी तरह की सुविधाएं मौजूद है।
 भारत और बांग्लादेश के 27 रिवर सिस्टम से गुजरेगा।
- यात्रा के दौरान विश्व विरासत से जुड़े 50 से अधिक स्थानों पर यह क्रूज रुकेगा।
- यह क्रूज राष्ट्रीय उद्यानों एवं अभयारण्यों से भी गुजरेगा, जिनमें सुंदरबन डेल्टा और काजीरंगा नेशनल पार्क शामिल हैं।