जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा- जब मैं पहली बार सीएम बना तो मैंने पहल की। पहले घोषणा को चुनाव के बाद भुला दिया जाता था। न जनता पढ़ती थी, न नेता ध्यान देते थे। नेता भूल जाते थे। पहली बार मैंने मेनिफेस्टो की कॉपी कैबिनेट में रखी। मैंने मुख्य सचिव से कहा कि ये हमारा घोषणा पत्र है। इसके लिखे शब्दों के हिसाब से गवर्नेंस और फैसले होंगे। ये वादे हैं। ये लागू होंगे। उस वक्त से घोषणा पत्र को लागू करने की परंपरा बनी। या तो वादे करो मत और करो तो निभाओ। हम वादा करके निभाने वाले लोग हैं, जो वादे किए हैं, वो निभाएं हैं।
जयपुर के कॉमर्स कॉलेज ग्राउंड पर गुरुवार दोपहर करीब तीन बजे राज्य स्तरीय समारोह में अशोक गहलोत ने 2030 का विजन डॉक्युमेंट जारी किया। कार्यक्रम में सभी मंत्री, बोर्ड निगमों के अध्यक्ष और वरिष्ठ नेता मौजूद हैं। इस दौरान सीएम अशोक गहलोत ने 12,700 करोड़ रुपए के कार्यों का शिलान्यास किया।
सीएम अशोक गहलोत ने मिशन 2030 के लिए प्रदेशभर में अभियान चलाया था। जयपुर से इस अभियान की शुरुआत की थी। इसके बाद सीएम ने जिलों में जाकर मिशन 2030 के सुझावों पर सभाएं और सम्मेलन किए थे। 2030 में राजस्थान कैसा हो और विकसित राजस्थान बनाने के लिए सरकार को क्या करना चाहिए, इस पर लोगों से सुझाव मांगे गए थे।
विजन डॉक्युमेंट के लिए चले अभियान में करीब 2.50 करोड़ लोगों ने सुझाव दिए हैं। जनता ने विकसित राजस्थान बनाने के लिए सरकार को विभागवार सुझाव दिए हैं। शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार पर फोकस करने का सुझाव दिया है। क्वालिटी एजुकेशन देने को कहा गया है। सरकारी तंत्र में भ्रष्टाचार खत्म करने और चुनावी खर्च में कटौती करने के सुझाव भी आए हैं। सरकार को विभागवार टास्क दिया गया है।