सीहोर ।    घर से अपहरण कर शादी का झांसा देकर नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले युवक को कोर्ट ने 20 वर्ष के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। इसके अलावा 47,000 रुपये के अर्थदंड से दंडित किया गया है। यह फैसला विशेष न्यायाधीष पॉक्सो अभिलाष जैन ने सुनाया। विशेष लोक अभियोजन अधिकारी व पैरवीकर्ता केदार सिंह कौरव ने बताया कि 15 जुलाई 2021 को पीड़िता के दादाजी ने थाना दोराहा में रिपोर्ट लिखाई कि मेरी पोती बचपन से ही मेरे पास रह रही है। पोती की उम्र करीबन 16 वर्ष है। 14 जुलाई 2021 को रात करीब 10 बजे उसकी पोती दूसरे घर में बने शौचालग में गई थी। रात करीबन 11.30 से 12.00 बजे तक उसकी पोती नहीं लौटी तो उसने और उसकी पत्नि ने आसपास पड़ोस में तलाश किया, कोई पता नहीं चला। उसके घर निवारिया के सैफु उर्फ सैफुद्दीन और मुस्तकिन का 4-5 साल से आना जाना है, उसे शंका है कि उसकी पोती को ये बहला फुसलाकर अपहरण करके कहीं ले गए हैं। पुलिस ने पोती को 15 जुलाई 2021 को आरोपीगण के कब्जे से दस्तयाब किया। उसने बताया कि आरोपी मुस्तकिन मुझे अपनी मोटरसाइकिल से आरोपी सैफु उर्फ सैफुद्दीन के मुर्गी फॉर्म पर जबरजस्ती लेकर गया था, जहां पर आरोपी सैफु ने शादी का झांसा देकर रात भर मेरे साथ दुष्कर्म किया। पीड़िता चार माह के गर्भ होने के उपरांत अनुसंधान अधिकारी द्वारा अस्पताल में गर्भपात कराया गया। इसमें पीड़िता के डीएनए का परीक्षण का मिलान आरोपी से होना पाया गया। प्रकरण में अनुसंधानकर्ता द्वारा विवेचना पूर्ण कर अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। न्यायालय द्वारा अभियोजन के तर्कों से सहमत होकर आरोपी को दंडित किया गया। न्यायालय ने सैफु उर्फ सैफुद्दीन पिता बाबू खां (22) निवासी निवालिया थाना श्यामपुर जिला सीहोर को दोषी पाते हुये धारा 5(एल)/6 लैंगिक अपराधों से बालकों का सरंक्षण अधिनियम में 20 वर्ष का सश्रम कारावास एवं धारा 5(जे)(पप)/6 लैंगिक अपराधों से बालकों का सरंक्षण अधिनियम में 20 वर्ष का सश्रम कारावास, धारा 366 भादवि में 07 वर्ष का सश्रम कारावास, धारा 363 भादवि में 05 वर्ष का सश्रम कारावास और कुल 47,000 रूपये अर्थदण्ड से दंडित किया गया एवं न्यायालय द्वारा पीड़िता को 2 लाख रुपये प्रतिकर दिए जाने का आदेश पारित किया।