जयपुर । सांभर झील प्रबंधन एजेन्सी की मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीमती मोनाली सेन ने कहा कि सांभर झील के बेहतर प्रबंधन एवं संरक्षण के लिए स्थानीय प्रशासन सहित हितधारकों एवं अन्य विभागों को समन्वय के साथ काम करना होगा। उन्होंने कहा कि सांभर झील एक ऐसी खारी आर्द्रभूमि है जो रोजगार के साधन  के साथ फ्लेमिंगो सहित  अन्य कई प्रकार के प्रवासी पक्षियों  का विचरण स्थल भी है। इसलिए सांभर झील के प्राकृतिक स्वरुप के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए एक्शन प्लान तैयार कर सतत रूप से प्रयास करने होंगे। श्रीमती मोनाली सेन सचिवालय में सांभर झील प्रबंधन एजेंसी की कार्यकारी समिति की दूसरी बैठक की अध्यक्षता कर रही थी।
इस दौरान उन्होंने पीपीटी प्रस्तुतीकरण के माध्यम से बैठक के एजेंडा मौजूदा समिति सदस्यों के साथ विस्तार से  से चर्चा कर कहा कि सांभर झील के विकास एवं संरक्षण के लिए हर संभव प्रयास किये जा रहे है। अत: स्थानीय प्रशासन के साथ संबंधित हितधारकों एवं आमजन को भी साथ आकर सहयोग देना होगा ताकि शीघ्र ही सांभर झील के विकास की संकल्पना को साकार किया जा सके।श्रीमती मोनाली सेन ने कहा कि सांभर झील का जलस्तर में कमी दर्ज की गयी है जिसका एक बड़ा कारण झील क्षेत्र में हो रहे अनाधिकृत अतिक्रमण भी है।  उन्होंने बैठक में मौजूद सम्बंधित अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि अधिकारी मौके पर जाकर वस्तुस्थिति का आंकलन कर कार्यवाही करें। ताकि झील के विकास कार्यों में तेजी लायी जा सके।