खरगोन   कोर्ट ने हत्या करने वाले पिता-पुत्र को आजीवन सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। पति-पत्नी के विवाद के दौरान मृतक समझाने पहुंचे थे। गुस्साए पति ने अपने बेटे के साथ, समझाने आए व्यक्ति के घर पहुंच कर लात घूंसों से मारपीट की और उसके बाद आरोपी पुत्र ने पत्थर मारकर युवक की हत्या कर दी।

क्या था मामला

13 सितंबर 2020 की शाम को तिरी गांव निवासी अनु के रिश्तेदार हरदास और उसकी पत्नी गनाबाई उनके घर पर विवाद कर रहे थे। तब उसके पिता मोहन उनके घर पर समझाने गए और समझाकर अपने घर आ गए। इस दौरान तिरी निवासी आरोपी हरदास, मोहन के घर आया और अपशब्द कहने लगा। जब मोहन ने रोका तो आरोपी हरदास ने मोहन के साथ लात-घूंसों से मारपीट की। तभी आरोपी हरदास का पुत्र गोपाल उर्फ गपड़िया भी वहां आ गया। उसने मोहन को पत्थर उठाकर मारा जिससे मोहन बेहोश होकर नीचे गिर गया। घायल मोहन को प्राथमिक उपचार के लिए जिला चिकित्सालय खरगोन लाया गया। मोहन की स्थिति गंभीर होने के चलते, उसे इंदौर रेफर किया गया। जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।

कोर्ट का फैसला

आरोपी पिता-पुत्र के विरुद्ध पुलिस थाना ऊन ने हत्या का केस दर्ज किया गया और अनुसंधान में लिया गया। अभियोग पत्र न्यायालय खरगोन में प्रस्तुत किया गया। तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश खरगोन ने सारे पक्षों को सुनने के बाद आरोपी हरदास और उसके पुत्र गोपाल को धारा 302/ 34 भादवी में आजीवन सश्रम कारावास और 2000 रुपए के अर्थदंड से दंडित किया है। शासन की ओर से पैरवी उपसंचालक अभियोजन जे.एस मुवैल द्वारा की गई।